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निपुण भारत मिशन के प्रशिक्षण में बीआरसी मनियर पर बड़ा खेल, अध्यापकों के भोजन के पैसे को डकारने का खेल

 



एजाज अहमद की रिपोर्ट 

मनियर  बलिया।। निपुण भारत मिशन के तहत शिक्षकों के शैक्षणिक उन्नयन हेतु चलाये जा रहे बीआरसी मनियर पर प्रशिक्षण मे खंड शिक्षा अधिकारी और इसके व्यवस्थापको द्वारा अध्यापकों के लिये शासन स्व आये भोजन के मद मे बड़ा फर्जीवाड़ा किया जा रहा है। बता दे कि इस कार्यक्रम के तहत जनपद के कुल 8000 शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जाना है। प्रत्येक बीआरसी पर 400 से 500 के करीब अध्यापकों को ट्रेनिंग लेनी है। एक बैच मे 100 अध्यापकों को 4 दिन का प्रशिक्षण मिल रहा है। इस प्रशिक्षण मे भाग लेने वाले प्रत्येक अध्यापक को सरकार प्रतिदिन 150 रूपये भोजन नाश्ता के लिये दे रही है। यानी एक अध्यापक को भोजन नाश्ता के मद मे सरकार 600 रूपये दे रही है। इसके अलावा 50 रूपये स्टेशनरी के लिए भी सरकार के द्वारा दिया गया है।

बड़ा खेल, अध्यापकों के भोजन के पैसे को डकारने की तैयारी 




 जनपद बलिया से लगभग 30 किमी की दूरी पर स्थित बीआरसी मनियर मे आज निपुण भारत मिशन के अंतर्गत प्राथमिक शिक्षकों के लिये आयोजित शिक्षक एवं शिक्षामित्र प्रशिक्षण का कार्यक्रम संचालित हो रहा है। आज हमारी टीम के सदस्य जब बीआरसी मनियर पर पहुंचे तो यहां प्रशिक्षण के लिए उपस्थित अध्यापकों की संख्या 50 से भी कम थी। जबकि एक बैच के लिये 100 अध्यापकों का चयन किया गया है। एक बैच मे 100 अध्यापकों को लगातार चार दिनों तक प्रशिक्षित किया जा रहा है।



अध्यापकों को लंच के समय बिस्कुट चाय दिया जा रहा था। कहीं न लंच के समय भोजन बनता ही दिख रहा था, ना ही कोई पत्तल दिखाई दे रहा था । इसका कवरेज करने के दौरान प्राथमिक विद्यालय हथाैज के भावा नंदन शर्मा बाहर से घूमते हुए आए और मीडिया कर्मियों से उलझ गए कि कहीं यहां का सच उजागर ना हो जाये। अध्यापकों को मीनू के हिसाब से ना नाश्ता किया जा रहा है और ना ही भोजन। इसका भंडाफोड़ न हो इसके लिए भवानंद शर्मा मीडिया कर्मियों से उलझते हुए अभद्रता करने लगे। इनकी यह करतूत कैमरे मे कैद है और वीडियो मे साफ दिख रहा है। समाचार अध्यापकों के हित के लिये है और देखिये ये अध्यापक ही कैसे सच उजागर न हो, इसके लिए कैमरे के सामने ही अभद्रता कर रहे हक़। इनके कृत्य ये बता रहा है कि ये अध्यापक हित मे खंड शिक्षा अधिकारी के हित मे ऐसा कर रहे है। ऐसे अध्यापकों के खिलाफ जिलाधिकारी को संज्ञान लेकर कार्यवाही करनी चाहिये।



खंड शिक्षा अधिकारी की लूट की हो जांच

इस बीआरसी पर चल रही ट्रेनिंग भ्रष्टाचार की भेंट पूरी तरह से चढ़ चुकी है। यहां जिस भी बैच का प्रशिक्षण दिया गया है, उसमे जमकर भ्रष्टाचार हुआ है। अगर इसकी प्रशासनिक अधिकारियों से जांच करा दी जाय तो लाखों रूपये का फर्जीवाड़ा सामने आयेगा। साथ ही इस फर्जीवाड़े मे खंड शिक्षा अधिकारी के साथ कौन कौन अध्यापक मिलकर अन्य अध्यापकों के भोजन को चट कर रहे है, उनके चेहरे भी उजागर हो जायेंगे। अगर केवल प्रशिक्षण स्थल पर फेकें गये पत्तलों की ही गिनती करा दी जाय तो फिर न किसी से बयान लेने की जरूरत पड़ेगी, न ही किसी साक्ष्य मांगने की ही जरूरत पड़ेगी। सीएम योगी के राज मे भी भ्रष्टाचार वो भी दिन के उजाले मे सोचनीय है। इस पूरे घटनाक्रम के दौरान खंड शिक्षा अधिकारी नदारद रहे। पता करने पर बताया गया कि बलिया मीटिंग मे गये हुए है।