बलिया के स्वास्थ्य विभाग से बड़ी खबर : बिना चढ़ावा सीएमओ कार्यालय में नही मिलता कोई भुगतान, सालो से अपने भुगतान के लिये गुहार लगा रही है सेवानिवृत्त महिला कर्मी,पीएम सीएम जन सुनवाई पोर्टल कमिश्नर से गुहार लगाने के बाद भी नही हुआ भुगतान
बलिया के स्वास्थ्य विभाग से बड़ी खबर : बिना चढ़ावा सीएमओ कार्यालय में नही मिलता कोई भुगतान, सालो से अपने भुगतान के लिये गुहार लगा रही है सेवानिवृत्त महिला कर्मी,पीएम सीएम जन सुनवाई पोर्टल कमिश्नर से गुहार लगाने के बाद भी नही हुआ भुगतान
बलिया 22 दिसम्बर 2019 ।। एनएचएम में करोड़ो के घोटाला करने , कई के जेल जाने के बाद भी और कई और के जाने की संभावना के बावजूद सीएमओ कार्यालय में भ्रष्टाचार चरम पर है । सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि यहां के अधिकारी हो या बाबू इतने निडर और राजनैतिक पहुंच वाले है कि इनके खिलाफ चाहे प्रधानमंत्री के यहां शिकायत कीजिये या मुख्यमंत्री के यहां कीजिये, प्रमुख सचिव के यहां कीजिये या मंडलायुक्त के यहां कीजिये , इनकी सेहत पर कोई फर्क नही पड़ने वाला है । इनको जबतक चढ़ावा नही चढ़ाया जायेगा भुगतान नही मिलेगा चाहे पीएमओ से या सीएम ऑफिस से ही आदेश क्यो न आये । जन सुनवाई पोर्टल तो इनके लिये फर्जी निस्तारण कराने का खिलौना बन गया है ।यह आरोप हम नही बल्कि 2017 से स्वास्थ्य विभाग से ही सेवानिवृत्त हो चुकी कलावती सिंह (स्वास्थ्य निरिक्षिका) द्वारा लगाया गया है ।ये सोनवानी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र जनपद बलिया से स्वास्थ्य निरीक्षक के पद से 2017 में सेवानिवृत्त हो चुकी है ।
जिलाधिकारी बलिया को लिखे पत्र में लिखा है कि प्रार्थिनी पद पर रहते हुए पूरी निष्ठा व लगन से अपना कार्य करती थी, परंतु सेवा निवृत्ति के पश्चात आज उसी का विभाग पूर्ण रूप से प्रार्थिनी का आर्थिक व मनसिक शोषण कने पर आमादा है।
जिसका प्रत्यक्ष उदाहरण है कि प्रार्थिनी ने जनसुनवाई पोर्टल पर तीन बार अपने भुगतान के लिए आवेदन दिया जिसका सन्दर्भ संख्या कम 40010917001057
40019318029076 4400193180344210 (छायाप्रति संलग्न है) ,इन सबका फर्जी तरीके से निस्तारण हो गया लेकिन आजतक प्रार्थिनी का कोई भी भुगतान नहीं किया गया है। जब पोर्टल पर शिकायत के बाद भी भुगतान नही हुआ तो इसके पश्चात प्रार्थिनी ने मंडलायुक्त आजमगढ़ को पंजीकृत
डाक के माध्यम से दिनांक 24.08.2019 को पत्र भेजकर अपना भुगतान कराने का निवेदन किया और प्रतिलिपि माननीय मुख्यमंत्री, प्रमुख सचिव उ0प्० शासन, मुख्य सचिव स्वा0 एवं परिवार कल्याण, तत्कालीन जिलाधिकारी बलिया व मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया (छायापति संलग्न)
को रजिस्टर्ड डाक से भेजा परंतु लगभग 4 माह बीत जाने के पश्चात भी प्रार्थिनी का भुगतान आज तक नहीं हुआ है। प्रार्थिनी का आरोप है कि प्रार्थिनी के जी0पी0एफ0 (90 प्रतिशत + 10 प्रतिशत) का शासन से आदेश (छाया प्रति
संलग्न) आने के बाद भी तत्कालीन लिपिक अरुण कुमार चौधरी व आर0के0 सैनी पैसे की मांग कर रहे थे ,मेरे द्वारा पैसा नहीं देने पर मेरा भुगतान रोक दिया गया और
जीoपी०एफo (90 प्रतिशत + 10 प्रतिशत) के भुगतान की वैधता समाप्त हो गयी जिसके कारण प्रार्थिनी को लाखों रूपये ब्याज की क्षति हो गयी है। वर्तमान में कार्यालय सा० स्वा० केन्द्र सोनवानी बलिया के बड़े बाबू गोपाल जी जो कार्यालय मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया में पेंशन व
जी0पी0एफ0 का अतिरिक्त कार्यभार देख रहे है , द्वारा उक्त सभी भुगतान के लिए 4 प्रतिशत धनराशि की मांग की जा रही है और धमकी दे रहे है कि पैसा नहीं दोगी तो आपके भुगतान से कटोती कर दी जाएगी। इन परिस्थितियों के कारण प्रार्थिनी घोर आर्थिक व मानसिक कष्ट से गुजर रही है जिसके कारण प्रार्थिनी के साथ कभी भी कोई अप्रिय पटना घट सकती है जिसके जिम्मेदार मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया व उपरोक्त सभी बाबू लोग होगे। श्रीमती कलावती सिंह ने जिलाधिकारी बलिया को पूर्व में किये गये सभी पत्राचारों की छायाप्रति देते हुए अपना भुगतान कराने और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्यवाही करने की मांग की है ।
बता दे कि यह घटना तो बस एक बानगी भर है । ऐसे दर्जनों शिकायते सीएमओ कार्यालय में भुगतान कराने के लिये पड़ी हुई है , जिन फ़ाइल में चढ़ावा मिलता है पास हो जाती है जिसमे नही मिलता है लटकी रहती है । इसके लिये सबसे बड़े जिम्मेदार सीएमओ है जो कोर्ट केस के नाम पर जनपद से बाहर रहते है जिससे अन्य कार्य बाधित हो रहे है ।
बलिया 22 दिसम्बर 2019 ।। एनएचएम में करोड़ो के घोटाला करने , कई के जेल जाने के बाद भी और कई और के जाने की संभावना के बावजूद सीएमओ कार्यालय में भ्रष्टाचार चरम पर है । सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि यहां के अधिकारी हो या बाबू इतने निडर और राजनैतिक पहुंच वाले है कि इनके खिलाफ चाहे प्रधानमंत्री के यहां शिकायत कीजिये या मुख्यमंत्री के यहां कीजिये, प्रमुख सचिव के यहां कीजिये या मंडलायुक्त के यहां कीजिये , इनकी सेहत पर कोई फर्क नही पड़ने वाला है । इनको जबतक चढ़ावा नही चढ़ाया जायेगा भुगतान नही मिलेगा चाहे पीएमओ से या सीएम ऑफिस से ही आदेश क्यो न आये । जन सुनवाई पोर्टल तो इनके लिये फर्जी निस्तारण कराने का खिलौना बन गया है ।यह आरोप हम नही बल्कि 2017 से स्वास्थ्य विभाग से ही सेवानिवृत्त हो चुकी कलावती सिंह (स्वास्थ्य निरिक्षिका) द्वारा लगाया गया है ।ये सोनवानी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र जनपद बलिया से स्वास्थ्य निरीक्षक के पद से 2017 में सेवानिवृत्त हो चुकी है ।
जिलाधिकारी बलिया को लिखे पत्र में लिखा है कि प्रार्थिनी पद पर रहते हुए पूरी निष्ठा व लगन से अपना कार्य करती थी, परंतु सेवा निवृत्ति के पश्चात आज उसी का विभाग पूर्ण रूप से प्रार्थिनी का आर्थिक व मनसिक शोषण कने पर आमादा है।
जिसका प्रत्यक्ष उदाहरण है कि प्रार्थिनी ने जनसुनवाई पोर्टल पर तीन बार अपने भुगतान के लिए आवेदन दिया जिसका सन्दर्भ संख्या कम 40010917001057
40019318029076 4400193180344210 (छायाप्रति संलग्न है) ,इन सबका फर्जी तरीके से निस्तारण हो गया लेकिन आजतक प्रार्थिनी का कोई भी भुगतान नहीं किया गया है। जब पोर्टल पर शिकायत के बाद भी भुगतान नही हुआ तो इसके पश्चात प्रार्थिनी ने मंडलायुक्त आजमगढ़ को पंजीकृत
डाक के माध्यम से दिनांक 24.08.2019 को पत्र भेजकर अपना भुगतान कराने का निवेदन किया और प्रतिलिपि माननीय मुख्यमंत्री, प्रमुख सचिव उ0प्० शासन, मुख्य सचिव स्वा0 एवं परिवार कल्याण, तत्कालीन जिलाधिकारी बलिया व मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया (छायापति संलग्न)
को रजिस्टर्ड डाक से भेजा परंतु लगभग 4 माह बीत जाने के पश्चात भी प्रार्थिनी का भुगतान आज तक नहीं हुआ है। प्रार्थिनी का आरोप है कि प्रार्थिनी के जी0पी0एफ0 (90 प्रतिशत + 10 प्रतिशत) का शासन से आदेश (छाया प्रति
संलग्न) आने के बाद भी तत्कालीन लिपिक अरुण कुमार चौधरी व आर0के0 सैनी पैसे की मांग कर रहे थे ,मेरे द्वारा पैसा नहीं देने पर मेरा भुगतान रोक दिया गया और
जीoपी०एफo (90 प्रतिशत + 10 प्रतिशत) के भुगतान की वैधता समाप्त हो गयी जिसके कारण प्रार्थिनी को लाखों रूपये ब्याज की क्षति हो गयी है। वर्तमान में कार्यालय सा० स्वा० केन्द्र सोनवानी बलिया के बड़े बाबू गोपाल जी जो कार्यालय मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया में पेंशन व
जी0पी0एफ0 का अतिरिक्त कार्यभार देख रहे है , द्वारा उक्त सभी भुगतान के लिए 4 प्रतिशत धनराशि की मांग की जा रही है और धमकी दे रहे है कि पैसा नहीं दोगी तो आपके भुगतान से कटोती कर दी जाएगी। इन परिस्थितियों के कारण प्रार्थिनी घोर आर्थिक व मानसिक कष्ट से गुजर रही है जिसके कारण प्रार्थिनी के साथ कभी भी कोई अप्रिय पटना घट सकती है जिसके जिम्मेदार मुख्य चिकित्सा अधिकारी बलिया व उपरोक्त सभी बाबू लोग होगे। श्रीमती कलावती सिंह ने जिलाधिकारी बलिया को पूर्व में किये गये सभी पत्राचारों की छायाप्रति देते हुए अपना भुगतान कराने और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्यवाही करने की मांग की है ।
बता दे कि यह घटना तो बस एक बानगी भर है । ऐसे दर्जनों शिकायते सीएमओ कार्यालय में भुगतान कराने के लिये पड़ी हुई है , जिन फ़ाइल में चढ़ावा मिलता है पास हो जाती है जिसमे नही मिलता है लटकी रहती है । इसके लिये सबसे बड़े जिम्मेदार सीएमओ है जो कोर्ट केस के नाम पर जनपद से बाहर रहते है जिससे अन्य कार्य बाधित हो रहे है ।