बलिया : पूर्व राजस्व मंत्री अम्बिका चौधरी ने प्रशासन पर लगाये छवि धूमिल करने और प्रताणित करने का आरोप
जिला प्रशासन पर पूर्व मंत्री ने अनावश्यक प्रताणित करने का लगाया आरोप
पूर्व राजस्व मंत्री अम्बिका चौधरी ने प्रशासन पर लगाया छवि धूमिल करने का आरोप
राजनैतिक प्रतिद्वंदिता को बताया कारण
मधुसूदन सिंह
बलिया 25 नवम्बर 2018 ।। फेफना तिराहे पर जिला प्रशासन द्वारा भारी पुलिस बल के साथ की गयी पैमाइश काफी चर्चा में रही । इस मापी के लिये तहसीलदार बलिया ने पूर्व राजस्व मंत्री अम्बिका चौधरी के साथ ही इनके तीन अन्य भाइयो राम अवध चौधरी ,दिनेश चौधरी और रमेश चौधरी को नोटिस देकर मौके पर उपस्थित रहने को कहा गया था । चूंकि यह मापी पूर्व राजस्व मंत्री और बसपा के कद्दावर नेता अम्बिका चौधरी की जमीन की होनी थी इस लिये जिला प्रशासन ने एहतियातन किसी बवाल से बचने के लिये आसपास के सभी थानेदारों , के साथ भारी संख्या में पुलिस व पीएसी के जवानों को लगा रखी थी । वही अम्बिका चौधरी ने भारी संख्या में सुरक्षा बलों के साथ पैमाइश को अपनी छवि को धूमिल करने के प्रयास के रूप में देख रहे है । श्री चौधरी ने कहा कि कोई अदृश्य शक्ति जिला प्रशासन पर दबाव डालकर मुझे बदनाम करना चाहती है । मीडिया द्वारा उस अदृश्य शक्ति का खुलासा करने के लिये श्री चौधरी से कहा गया तो हँस कर टाल गये । श्री चौधरी से जब यह कहा गया कि आप जब मंत्री थे तो पुलिस चौकी के लिये जमीन आपने देकर उसके बदले जमीन ली है , की नापी हो रही है , के जबाब में श्री चौधरी ने कहा कि अगर अदृश्य शक्ति चाहती है कि जमीनों की जो अदला बदली हुई है वो निरस्त हो जाय तो ऐसे आदेश पर सबसे ज्यादे प्रसन्न होने वाला व्यक्ति मैं ही हूंगा क्योकि अदला बदली में जो जमीन मुझको पीछे मिली है वह तिराहे पर हो जाएगी । बता दे कि फेफना तिराहे पर जो पिकेट बना है वह अम्बिका चौधरी की पुश्तैनी जमीन पर बना है जिसके बदले में जिला प्रशासन ने इनको ग्राम समाज की जमीन सड़क से पीछे दी है । श्री चौधरी ने साफ शब्दों में कहा कि इस जमीन के लिये क्षेत्रीय विधायक और मंत्री श्री उपेंद्र तिवारी स्वयं माननीय उच्च न्यायालय में वाद दाखिल किये थे जिसको माननीय उच्च न्यायालय इलाहाबाद के प्रधान न्यायाधीश ने 2005 में वाद को खारिज कर दिया । इसके अलावा आज जिन भूखंडों की मापी की गयी है उसके ऊपर माननीय सिविल कोर्ट से स्टे मिला हुआ है , जिसकी कॉपी मैने डीएम से लेकर कानूनगो तक को रिसीव करवा दी है फिर भी मापी कराया जाना स्पष्ट करता है कि मंशा जमीन को चिन्हित करना नही मुझे अपमानित करना है ।
इस संबंध में जब तहसीलदार बलिया से बात की गयी और पूर्व मंत्री श्री चौधरी के आरोप की बिना किसी शिकायत के मापी कराकर मुझे अपमानित करने का प्रयास किया गया , के जबाब में तहसीलदार बलिया ने बताया कि ऐसी बात नही है । हमारे पास अंजनी ओझा व अन्य के अलावा एनएचआई , पशु चिकित्सा विभाग और ग्राम पंचायतराज विभाग से शिकायती पत्र मिला था कि हमारी जमीन को अवैध कब्जे से मुक्त कराया जाय , इसी क्रम में आज एसडीएम सदर , सीओ सदर के नेतृत्व में मापी की गयी ।चूंकि मापी
जिन भूखंडों की होनी है उसके बगल के भूखण्ड श्री चौधरी जी के है ,इस लिये चारो भाइयो को नोटिस दी गयी थी ताकि बाद में यह आरोप न लगे कि हम लोगो को सूचित नही किया गया । कहा कि मापी पूर्ण हो गयी है । उसका नक्शा तैयार हो रहा है ।
सुनिये पूर्व मंत्री अम्बिका चौधरी ने जिला प्रशासन पर क्या आरोप लगाया --
एसडीएम सदर का बयान -
पूर्व मंत्री द्वारा दिखया जा रहा नक्शा व कागजात--
सुरक्षा में तैनात पुलिस बल -