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बलिया के डॉ. विद्यासागर उपाध्याय को पंजाब कला साहित्य अकादमी का सर्वोच्च सम्मान, प्रदेश में हर्ष की लहर

 




डॉ सुनील कुमार ओझा 

लखनऊ।। प्रदेश के लिए गौरव का विषय है कि भारतीय दर्शन के सुप्रसिद्ध विद्वान, 20 मौलिक ग्रंथों के रचनाकार, अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त वक्ता एवं प्रतिष्ठित शिक्षाविद डॉ. विद्यासागर उपाध्याय को पंजाब कला साहित्य अकादमी, जालन्धर द्वारा अपने सर्वोच्च अकादमी सम्मान के लिए चयनित किया गया है।


अकादमी के 29वें वार्षिक पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन 7 दिसम्बर 2025 को जालन्धर प्रेस क्लब में किया जा रहा है, जहाँ देश–विदेश की प्रमुख हस्तियों की उपस्थिति में उन्हें यह सम्मान प्रदान किया जाएगा।



                    लखनऊ में खुशी की लहर


डॉ. उपाध्याय के सम्मान की घोषणा होते ही राजधानी में आनंद का वातावरण बन गया। साहित्यकारों, शिक्षाविदों, बुद्धिजीवियों एवं विद्यार्थियों में विशेष उत्साह देखा जा रहा है। सोशल मीडिया पर लगातार बधाइयों का सिलसिला जारी है।


लखनऊ के वरिष्ठ साहित्यकार एवं शिक्षाविद डॉ. महेन्द्र भीष्म, डॉ. राम सुधार सिंह, डॉ. सीमा मधुरिमा, डॉ. सुरभि सिंह,डॉ. वेदव्रत वाजपेई, स्वामी कौशिक चैतन्य, प्रेमिल द्विवेदी,राम महेश मिश्र, राहुल पाण्डेय, दिलीप आर्य, दयानन्द पाण्डेय ने उनके चयन को “पूरे प्रदेश के लिए सम्मान और प्रेरणा का क्षण” बताया है।


            अंतरराष्ट्रीय पटल पर प्रतिष्ठित योगदान


साहित्य, दर्शन और भारतीय ज्ञान–परंपरा को वैश्विक मंच पर पहचान दिलाने में डॉ. उपाध्याय के योगदान को अकादमी ने विशेष रूप से सराहा है। लगभग चार दशकों से पंजाब कला साहित्य अकादमी देश–विदेश की श्रेष्ठतम विभूतियों को साहित्य, कला, संस्कृति, दर्शन, समाजसेवा, पत्रकारिता, प्रशासन और संगीत के क्षेत्रों में सम्मानित करती आ रही है।


लखनऊ के बुद्धिजीवी वर्ग के अनुसार,“यह सम्मान केवल एक व्यक्ति का नहीं, बल्कि प्रदेश की बौद्धिक और सांस्कृतिक विरासत का सम्मान है।”