स्मृतिशेष सुषमा स्वराज के 8 चर्चित भाषण जिनको आपको जरूर सुनना चाहिये, के द्वारा बलिया एक्सप्रेस की विनम्र भावभीनी श्रद्धांजलि
स्मृतिशेष सुषमा स्वराज के 8 चर्चित भाषण जिनको आपको जरूर सुनना चाहिये के द्वारा बलिया एक्सप्रेस की विनम्र भावभीनी श्रद्धांजलि
कोमल शर्मा
जयपुर 8 अगस्त 2019 ।। बीजेपी की वरिष्ठ नेता, दिल्ली की भूतपूर्व मुख्यमंत्री, पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज (Sushma Swaraj) का मंगलवार की रात निधन हो गया। सुषमा स्वराज के निधन से पूरा देश स्तब्ध है। निधन से डेढ़ घंटे पहले पीएम मोदी को जम्मू कश्मीर पर लिए साहसी फैसले की बधाई देते हुए कहना-
‘प्रधानमंत्री जी, आपका हार्दिक अभिनन्दन। मैं अपने जीवन में इस दिन को देखने की प्रतीक्षा कर रही थी’
कोमल शर्मा
जयपुर 8 अगस्त 2019 ।। बीजेपी की वरिष्ठ नेता, दिल्ली की भूतपूर्व मुख्यमंत्री, पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज (Sushma Swaraj) का मंगलवार की रात निधन हो गया। सुषमा स्वराज के निधन से पूरा देश स्तब्ध है। निधन से डेढ़ घंटे पहले पीएम मोदी को जम्मू कश्मीर पर लिए साहसी फैसले की बधाई देते हुए कहना-
‘प्रधानमंत्री जी, आपका हार्दिक अभिनन्दन। मैं अपने जीवन में इस दिन को देखने की प्रतीक्षा कर रही थी’
ये कहना कहना गलत नहीं होगा कि जिसके निधन से पूरे देश में उदासी छाई उसका व्यक्तित्व कितना प्रभावशाली रहा होगा। जिसकी मौत की खबर ने छोटे-बड़े सभी को हैरान कर दिया। खैर, अब खुद को यकीन दिलाना होगा कि सुषमा स्वराज हमारे बीच नहीं रही, उनकी यादों के तौर पर अब हमारे पास कुछ ऐसे भाषण है जो उनकी याद हमें बार-बार बड़े मुद्दों बहसों के वक्त याद दिलाता रहेगा।
सुषमा स्वराज अपनी सौम्य मुद्रा के साथ-साथ विलक्षण वाकपटुता, हैरतअंगेज हाजिरजवाबी के लिए भी जानी जाती थी। सुषमा अपनी मधुर आवाज में जब प्रभावशाली हिंदी बोलतीं तो संसद भवन रहे या संयुक्त राष्ट्र, हर जगह जैसे छा जातीं। कई मुद्दों पर वह आक्रामक जरूर होती थीं, बावजूद इसके वह शब्दों के चयन में कभी गलती नहीं करतीं। सुषमा को भाषा की मर्यादा में ओजस्विता से परीपूर्ण भाषण देने के लिए हमेशा याद किया जाएगा। आइए सुनिए उनके कुछ यादगार भाषण…
साल 1996 का भाषण
विदेशी संबंधों पर विपक्ष को दिया करारा जवाब
निर्भया गैंगरेप के दौरान
संस्कृत में दिया भाषण-
हिन्दी भाषा पर शशि थरूर की बोलती बंद-
पाकिस्तान को दिया विश्वमंच से करारा जवाब
तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज का 30 सितंबर 2018 को दिया गया भाषण सबके जेहन में होगा। उस दिन सुषमा ने संयुक्त राष्ट्र के मंच से उसे ही सीख दी थी। सुषमा स्वराज ने हिंदी में दिए भाषण में कहा था कि संयुक्त राष्ट्र में तत्काल सुधार की जरूरत है। मैं संयुक्त राष्ट्र की विशिष्ट और सकारात्मक भूमिका को रेखांकित करते हुए अपनी बात शुरू करती हूं लेकिन मुझे यह अवश्य कहना होगा कि कदम दर कदम इस संस्था के महत्व, प्रभाव, सम्मान और मूल्यों में अवनति शुरू हो रही है।
वसुधैव कुटुंबकम की बुनियाद है परिवार और परिवार प्यार से चलता है , व्यापार से नहीं, परिवार मोह से चलता है, लोभ से नहीं, परिवार संवेदना से चलता है, ईष्र्या से नहीं, परिवार सुलह से चलता है, कलह से नहीं इसीलिए हमें यूएन को परिवार के सिद्धांत पर चलाना होगा। पिछले पांच सालों से हम लगातार इस मंच से इस बात पर बहस कर रहे हैं कि सिर्फ आतंकी और उनके संरक्षकों को पहचानना काफी नहीं है बल्कि हमें अतंराष्ट्रीय कानून के तहत उनकी जवाबदेही तय करनी होगी।
सबसे चर्चित भाषण में से एक है ये
यूएन भाषण