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सरकारों की नजर में बेरोजगार हुए कूड़ेदान,बड़े बड़े हाइवे में बड़ो को मिलता है मोटा कमीशन : पूर्व विधायक रामइकबाल सिंह



संतोष द्विवेदी

नगरा, बलिया। पूर्व विधायक व भाजपा प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य राम इकबाल सिंह ने कहा है कि सरकारें बेरोजगारों को कूड़ेदान समझकर किनारे लगा दी है और बेरोजगारों को नौकरी देने के बाद जो वेतन दिया जाता,उस पैसे से बड़े बड़े हाइवे बनाकर विदेशियों से अपनी पीठ थपथपवा रही है । इन हाइवे निर्माण में बड़ी कंपनियों को बड़ी कमाई और बड़े लोगो को मोटा कमीशन मिल रहा है ।

 कहा कि देश  में आज बेरोजगारी सबसे बड़ी समस्या है। बेरोजगारो को ठोस जिंदगी जीने के लिए सरकारो के पास कोई नीति नहीं है।  बेरोजगारों की उपेक्षा की जा रही है ।  छात्र आंदोलन न होने से उच्च शिक्षित बेरोजगार डिप्रेशन का शिकार हो गया है। अधिकारी सरकार को फर्जी आंकडा रोजगार का दिखा देते है। वही एनजीओ द्वारा बिना रिश्वत  एक भी भर्ती नहीं किया जा रहा है और तनख्वाह में से भी आधा ले लिया जाता है।

         बता दे कि पूर्व विधायक  श्री सिंह नगरा कस्बे में भाजपा मण्डल अध्यक्ष के आवास पर प्रेसवार्ता कर रहे थे। कहे कि सरकारो ने छात्र आंदोलनों को कुचलने के लिए लिंगदोह कमेटी का जो चाबुक चलाया, उससे छात्र आंदोलन की कमर टूट गई। विश्वविद्यालयों में चुनाव नहीं हो रहा है। इसका सीधा असर हुआ कि सरकारे मनमानी  और नौजवानों के साथ बहुत संवेदनहीनता के साथ व्यवहार कर रही ।  पद निकलते है,तब तक उसपर स्टे हो जाता है। ये सब योजना के तहत किया जाता है ताकि युवाओं को जॉब नहीं दिया जा सके। कहे कि उससे बचे पैसे से बड़े बड़े हाई वे बनाया जाता है। हाई वे में बड़े बड़े लोगो की कमीशन जाता है तथा मल्टीनेशनल कम्पनियों व विकसित देशों को संदेश देकर अपना पीठ ठोकने का अवसर मिलता है। 

कहे कि जितने पद रिक्त है, उस पर सरकार लिखित परीक्षा कराकर क्यो नही सीधे ज्वाइन करके ट्रेनिंग दे रही है। सभी नौकरियां ठेके पर एनजीओ को दे दी गई है और एनजीओ मनमानी कर रहे है। जिस एनजीओ को ठेका दिया जा रहा है, वो अलग से बेरोजगारो से तीन से चार लाख रूपए ले रहे है और और मानदेय का आधा हिस्सा खुद रख रहे है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के ईमानदार मुख्यमंत्री को इधर भी दृष्टि दौड़ाना चाहिए। अधिकारियों के भरोसे 24 करोड़ जनता को नहीं छोड़ना चाहिए। बेरोजगारों की कमर टूट गई है और अधिकारी आंकड़ा दिखा देते है, जबकि एक भी भर्ती बिना रिश्वत का नहीं किया जा रहा है। कहे कि इसमें सुधार करने की जरूरत है। सरकार के पास समय बहुत कम है लेकिन ताकत बहुत ज्यादा है। सरकार चाहे तो सुधार करके लाखो बेरोजगारों को ज्वाइन करा सकती है और मानदेय का काम समाप्त कर सीधे स्थाई भर्ती करना चाहिए। इसके अलावा किसानों की समस्याओं एवं जनपद की स्वास्थ्य व्यवस्था पर भी पूर्व विधायक जमकर बरसे।