Breaking News

बलिया एक्सप्रेस की खबर का हुआ असर : रसड़ा के चार अवैध रूप से संचालित पैथालोजी को प्रशासन ने किया सीज , मचा हड़कंप

बलिया एक्सप्रेस की खबर का हुआ असर : रसड़ा के चार अवैध रूप से संचालित पैथालोजी को प्रशासन ने किया सीज , मचा हड़कंप
मधुसूदन सिंह







बलिया 16 नवम्बर 2019 ।। बलिया एक्सप्रेस द्वारा जनपद भर में अवैध रूप से संचालित पैथालोजी के खिलाफ शुरू की गई मुहिम की पहली ही कड़ी ने हड़कम्प मचा दिया है । जनपद भर में पैथालोजी के अधिकृत रूप से संचालन हो , इसकी जिम्मेदारी जिस अधिकारी के कंधे पर हो और उसी के नाक के नीचे अवैध पैथालोजियो का संचालन हो और साहब को पता न चले यह किसी भी व्यक्ति के गले नही उतर रही थी । इसी गड़बड़ झाले को जब बलिया एक्सप्रेस ने 15 नवम्बर को प्रकाशित किया तो हड़कम्प मच गया । शनिवार 16 नवम्बर को जिलाधिकारी बलिया के निर्देश पर इन अवैध पैथालोजियो पर छापेमारी की गई तो इनके संचालक और कर्मी सब भाग खड़े हुए ।
डीएम बलिया के आदेश से नायब तहसीलदार रसड़ा ने चार फर्जी पैथीलोजी केंद्रों को सीज  कर दिया । जिनको य किया गया है उनके नाम है 
 जनता पैथोलॉजी , पानी टंकी रोड रसड़ा
 शिवम पैथोलॉजी हॉस्पिटल काम्प्लेक्स
कुमार निदान केंद्र
मारिया पैथालोजी


वैसे अवैध जाँच केंद्रों के संचालन का खेल बिना इसके नोडल अधिकारी/ अधीक्षक सीएचसी रसड़ा वीरेंद्र कुमार के बिना वरदहस्त  के संचालित हो ही नही सकता है। बता दे कि डॉ वीरेंद्र कुमार राजनैतिक जोड़तोड़ से एक दशक से यही जमे हुए है और अपने स्थानांतरण आदेश को हमेशा खारिज करा देते है ।





बलिया एक्सप्रेस ने कल यह खबर प्रकाशित की थी 

बलिया से बड़ी खबर : जिस अधिकारी को पूरे जनपद में फर्जीवाड़ा रोकने की जिम्मेदारी ,उसी के नाक के नीचे हो रही है अवैध दुकानदारी,अवैध पैथालॉजियो को बेनकाब करने की बलिया एक्सप्रेस की मुहिम की प्रस्तुत है पहली कड़ी
मधुसूदन सिंह

बलिया 15 नवम्बर 2019 ।। शासन चाहे किसी का भी हो , भ्रष्टाचार करने के आदी सरकारी सेवको के खून में रच बस चुके भ्रष्टाचार से आज प्रदेश ही नही देश छटपटाते हुए निकलने का प्रयास कर रहा है । हमारे पीएम व सीएम भी इस ओर अपनी पूरी ताकत लगा रहे है फिर भी अगर यह खत्म नही हो पा रहा है तो यकीन मानिये इसको रोकने की जिम्मेदारी लेने वाले अधिकारियों की नशों में दौड़ रहा यही भ्रष्टाचार का खून है । उत्तर प्रदेश सरकार ने मरीजो के इलाज के लिये की जाने वाली खून पेशाब मल मूत्र एक्सरे आदि की पैथॉलॉजिकली जांच के लिये जांच केंद्र खोलने के लिये एक गाइड लाइन बना रखी है , जांच कौन करेगा , इसके लिये योग्यता का निर्धारण भी कर रखा है , परन्तु दुर्भाग्य के साथ कहना पड़ रहा है कि जनपद भर में कुकुरमुत्ते की तरह खुले और चल रहे पैथालोजी सेंटरों पर सरकार द्वारा स्थापित मानकों की जमकर धज्जियां उड़ाई जा रही है , इसको जांचने की किसी भी जिम्मेदार अधिकारी के पास फुर्सत ही नही है । बलिया एक्सप्रेस इन्ही विसंगतियों को उजागर करने की मुहिम में आज पहली कड़ी प्रस्तुत कर रहा है । पहली कड़ी उस अधिकारी के क्षेत्र से शुरू की जा रही है जो पैथालोजी से सम्बंधित फर्जीवाड़े को रोकने की जनपद भर की जिम्मेदारी लिये हुए है यानी साहब जनपद भर में खुले पंजीकृत और अवैध दोनो तरह के सेंटरों के जांच के लिये नोडल अधिकारी है । इस साहब की एक विशेषता यह भी बता दे कि ये साहब चाहे किसी की सरकार रहे , रसड़ा से नही जाएंगे । कई बार तबादला हुआ पर हर बार आदेश कूड़ेदान में ही गया चाहे सीएम अखिलेश यादव रहे हो या वर्तमान सीएम योगी जी । हम आज बात कर रहे है सीएचसी रसड़ा के प्रभारी और पैथालोजी, एक्सरे और प्राइवेट नर्सिंग होम्स के जनपद भर के लिये नोडल अधिकारी डॉ वीरेंद्र कुमार की । आज हम इसी नोडल साहब के नाक के नीचे कैसे फर्जी पैथालोजी सेंटर चल रहे है उसका काला चिट्ठा खोलने जा रहे है ।
   बता दे कि सीएमओ कार्यालय बलिया द्वारा रसड़ा में संचालित पंजीकृत पैथालोजी सेंटरों में --
1-शिवम पैथालॉजी हॉस्पिटल कैम्पस रसड़ा
2-जनता पैथालॉजी पानी टंकी रोड रसड़ा
3-कुमार निदान केंद्र स्टेट बैंक कटरा रसड़ा
4-पापुलर जांच घर रसड़ा ,
 का ही नाम है । इसके अलावा इसी रसड़ा में कई जांच घर अवैध रूप से संचालित हो रहे है लेकिन नोडल साहब को फुर्सत ही नही है कि मरीजो के जीवन के साथ खिलवाड़ कर उलजुलूल रिपोर्ट देने वाले अवैध जांच घरों पर छापेमारी करें , उनको बन्द कराये । लोगो मे तो साफ धारणा बन गयी है कि बिना अधिकारियों के मिले इसका संचालन हो ही नही सकता है । बता दे कि पूरे जनपद में मात्र 44 पैथालोजी केंद्रों का सीएमओ बलिया के कार्यालय में पंजीकरण है और उनको जांच करने की अनुमति मिली हुई है और रसड़ा में तो मात्र 4 को फिर अन्य का संचालन क्यो और किसके इशारे पर हो रहा है ? मरीजो का जांच के नाम पर आर्थिक शोषण का यह खेल किसके इशारे पर चल रहा है ,यह जांच का विषय है । रसड़ा में चल रहे इन जांच केंद्रों पर अब तक नोडल साहब की नजरें क्यो नही गयी, इनको बन्द क्यो नही कराये यह चर्चा का विषय है । रसड़ा में अन्य संचालित जांच घरों में 
1-आयुष एक्सरे पैथालॉजी मारिया,
 2-सरोज एक्सरे पैथालॉजी प्रथम तल शापिंग कम्पलेक्स रसड़ा,
 3-आशा पैथालॉजी निकट S B I ATM भगत सिंह तिराहा रसड़ा
काफी चर्चित है , वावजूद इसके ये सीएमओ कार्यालय द्वारा जारी पंजीकृतो की सूची से बाहर है , ऐसा क्यों है , यह नोडल अधिकारी डॉ वीरेंद्र कुमार को बतानी चाहिये । यह तो
कुछ बानगी भर है । जांच में और कई सामने आ जाएंगे जो डॉक्टर साहब लोगो की मेहरबानी से फल फूल रहे है , अपने भी कमा रहे है और साहब लोगो को भी फल पहुंचा रहे है ।









पंजीकृतो की भी जांच निकल चुकी है फर्जी
यह नही कि सिर्फ अवैध रूप से संचालित जांच घरों की रिपोर्ट ही गलत होती है , साहब आप को जानकर हैरानी होगी कि पंजीकृतो की रिपोर्ट ने तो वो कारिस्तानी की है कि आपके होश उड़ जाएंगे । रसड़ा के एक पंजीकृत पैथालॉजी केंद्र ने तो जांच के बाद एक मरीज को यौनजनित रोग (एड्स) से ग्रसित होने की रिपोर्ट दे डाली । यही नही इसी रिपोर्ट पर रसड़ा के ही एक महान डॉक्टर साहब ने इलाज भी शुरू कर दिया । नतीजा मरीज का पूरा शरीर चकतों से भर गया । जब मरीज ने बलिया के एक पैथालोजी में जांच कराया तो उसे पता चला कि जिस रोग की वह दवा खा रहा है वह रोग तो उसे है ही नही । रसड़ा के पंजीकृत जांच केंद्र ने जो रिपोर्ट दी थी वह फर्जी निकली यानी बिना जांच किये ही रिपोर्ट तैयार कर दे देना । जब इस मरीज ने रसड़ा कोतवाली में पैथालोजी सेंटर के खिलाफ तहरीर दी तो हड़कम्प मच गया और येनकेन प्रकारेण मरीज को मना कर इस मसले को जांच घर ने दबा दिया ।
सबसे बड़ा खेल यहां रिपोर्ट में ही होती है । शासनादेश के अनुसार किसी भी पैथॉलॉजिकल टेस्ट को ट्रेंड व्यक्ति द्वारा ही किया जाएगा जिसको डॉक्टर (पैथालोजी) द्वारा जांचने के बाद रिपोर्ट जारी की जाएगी । पर यहां तो बिना डॉक्टर के ही रिपोर्ट जारी कर दी जाती है । मानकों की कसौटी पर अगर जांच की जाय तो अधिकांश जांच घर बन्द हो जाएंगे । सबसे बड़ा सवाल जिन मरीजो को अच्छी से अच्छी चिकित्सकीय सुविधा देने के लिये सरकार प्रयत्नशील है, उन्ही मरीजो के साथ जांच के नाम पर फर्जीवाड़ा को कौन रोकेगा ?

खुलासे की अगली कड़ी में सीएमओ बलिया के नाक के नीचे चल रहे अवैध पैथालॉजी केंद्रों की पड़ताल करके सीएमओ बलिया से पूंछा जाएगा कि साहब दीपक तले अंधेरा क्यो ?
इसके बाद कि कड़ी में तहसील बैरिया व सिकंदरपुर के फर्जीवाड़े को परत दर परत उधेड़ा जाएगा ।