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खबर का हुआ असर : आरोपी ग्राम पंचायत अधिकारी के खिलाफ बैठी जांच,लटकी निलंबन की तलवार

 




बलिया ।।  बलिया एक्सप्रेस द्वारा अपने ऑफिस में बैठकर शराब पीने की वायरल वीडियो के बाद खबर चलाने के बाद प्रशासन हरकत में आ गया है और आरोपी ग्राम पंचायत अधिकारी के खिलाफ जांच डीपीआरओ द्वारा बैठा दी गयी है । अब निलंबन की कार्यवाही होने वाली है ।

खबर यह थी

सीयर ब्लाक के जजौली नम्बर -2 की महिला प्रधान मालती सिंह ने जिलाधिकारी को एक शिकायत पत्र देकर आरोप लगाया है कि ग्राम पंचायत  अधिकारी प्रमोद कुमार मंजूर गांव सभा के विकास कार्यों में कोई रुचि नहीं लेते है, और न तो रोस्टर नियमों के अनुसार ग्राम सभा में उपस्थित ही होते है। उसकी इस लापरवाही से ग्राम सभा के सारे विकास कार्य अवरुद्ध पड़े हैं। महिला प्रधान ने ग्राम विकास अधिकारी पर धन उगाही व ड्यूटी के दौरान शराब के नशे में लोगों व खुद के साथ अभद्र व्यवहार करने का भी आरोप लगाया है। शिकायत पत्र में ग्राम प्रधान ने ग्राम पंचायत अधिकारी की आफिस में शराब पीने का एक  फोटो व विडियो  भी वायरल  है। 





इस फोटो व विडियो को लेकर जिलाधिकारी को दिए गए शिकायती पत्र में महिला प्रधान मालती सिंह   ने आरोप लगाया है कि ग्राम पंचायत अधिकारी द्वारा पंचायत भवन के निर्माण के कार्यों में बगैर निर्माण कराए ही ₹ 5 लाख से अधिक का गलत तरीके से आहरण मई सन् 2021 में ही कर लिया गया है। यहां तक कि बार-बार पंचायत भवन का निर्माण कार्य कराए जाने के  लिए दबाव बनाया जा रहा है ।

 बल्कि प्रार्थिनी से यह कहा गया कि पंचायत भवन का निर्माण  प्रधान द्वारा कराया जाए। जिस पर प्रधान द्वारा पंचायत भवन का निर्माण नींव खुदवा कर बीम बनवाने तक  कराया गया है। उक्त निर्माण कार्य में ग्राम पंचायत अधिकारी द्वारा कोई सहयोग नहीं किया जा रहा है। निर्माण कार्य में जो ईंट, सीमेंट, सरिया व बालू लगाया गया है । उसका तगादा दुकानदारों द्वारा हम प्रार्थना प्रधान  से किया जा रहा है । साथ ही मनरेगा मद से जो भी कार्य कराया जा रहा है उसके भुगतान में भी 10%  की मांग सचिव द्वारा की जा रही है । कमीशन न दिए जाने के लिए कहने पर मजदूरों के खाते  में मजदूरी की धनराशि का भुगतान ग्राम पंचायत  अधिकारी द्वारा नहीं किया जा रहा है ।

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 ग्राम  पंचायत  के लोगों द्वारा परिवार रजिस्टर की नकल मांगे जाने पर हीला हवाली उनके द्वारा की जाती है ।  एक परिवार रजिस्टर की नकल पर भी तीन  सौ से लेकर पांच  रुपए की मांग इनके द्वारा की जाती है न देने पर  परिवार रजिस्टर के लिए बार-बार के लोगों को दौड़ाकर हैरान और परेशान किया जा रहा है । ग्राम विकास अधिकारी शराब पीने के आदी है और  शराब के नशे में ड्यूटी के दौरान भी  रहता है । ग्राम पंचायत के लोगों व प्राथमिक शिक्षा व्यवहार नहीं करता है और ना ही उसका अच्छा आचरण ही है वही  ग्राम पंचायत में ग्राम पंचायत  अधिकारी के निरंकुश हो जाने के कारण विकास कार्य अवरुद्ध पड़ा हुआ  है ।

 उपरोक्त तथ्यों को दृष्टिगत रखते हुए किसी सक्षम अधिकारी से अपने स्तर से जांच करा कर  ग्राम पंचायत अधिकारी के विरुद्ध  ग्राम विकास  कार्य  आवश्यक काराई जाय व शराबी ग्राम पंचायत अधिकारी के उपर अंकुश लगायी जाय ।